Pages


Top Stories

Friday, April 23, 2010

आदिवासी विद्यार्थियों के शैक्षणिक सुधार के लिये नवीन शालाएं प्रारंभ

वर्ष 2009-10 में आदिवासी बहुल क्षेत्रों में 50 नये हाई स्कूल प्रारंभ
प्रदेश में अनुसूचित जनजाति वर्ग के विद्यार्थियों में शैक्षणिक सुधार के लिये आदिम जाति कल्याण विभाग द्वारा लगातार प्रयास किये जा रहे हैं। वर्ष 2009-10 में जनजाति वर्ग के विद्यार्थियों के लिये नवीन शाला, छात्रावास, आश्रम, हायर सेकेंडरी एवं हाई स्कूल प्रारंभ किये गये हैं। 
इसके साथ ही पूर्व से संचालित छात्रावासों में उपलब्ध सीटों की संख्या में बढ़ोत्तरी की गई है। प्रदेश में वर्ष 2009-10 में कक्षा 6 से 10 तक अध्ययन करने वाले विद्यार्थियों के लिये 20 नवीन प्री-मेट्रिक छात्रावास प्रारंभ किये गये हैं। अब प्रदेश में प्री-मेट्रिक छात्रावासों की संख्या 1282 हो गई है। इन छात्रावासों में 50 हजार से अधिक आदिवासी विद्यार्थियों को शिक्षण सुविधा का लाभ दिलाया जा रहा है। प्रदेश में पूर्व से संचालित प्री-मेट्रिक छात्रावासों में दो हजार सीटों की वृद्धि की गई है। इन छात्रावासों में पढ़ने वाले विद्यार्थियों को प्रतिमाह शिष्यवृत्ति एवं रहने एवं भोजन की नि:शुल्क सुविधा उपलब्ध कराई जा रही है।
1282 प्री-मेट्रिक छात्रावास में 50 हजार से अधिक विद्यार्थी अध्ययनरत्
950 आश्रम शालाओं में आवासीय परिसर में ही आदिवासी विद्यार्थियों को शैक्षणिक सुविधा
उच्च शिक्षा में अध्ययनरत विद्यार्थियों के लिये 106 पोस्ट मेट्रिक छात्रावास का संचालन

राज्य में वर्ष 2009-10 के दौरान आदिवासी बाहुल्य क्षेत्रों में 20 नवीन आश्रम खोले गये हैं। इन आश्रमों में कक्षा एक से आठ तक अध्ययन करने वाले आदिवासी विद्यार्थियों को नि:शुल्क भोजन एवं आवासीय सुविधा उपलब्ध कराई जा रही है। प्रदेश में वर्तमान में 950 आश्रम शालाएं संचालित हो रहे हैं। इन आश्रम शालाओं में 55 हजार से अधिक विद्यार्थियों को शैक्षणिक सुविधा का लाभ दिलाया जा रहा है। 950 आश्रम शालाओं में 448 आश्रम शालाएं केवल कन्याओं के लिये संचालित हो रही हैं।

आदिवासी विद्यार्थियों को बेहतर ढ़ंग से उच्च शिक्षा का लाभ मिल सके इस उद्देश्य से प्रदेश में दो नवीन पोस्ट मेट्रिक छात्रावास नवगठित सिंगरौली जिले के ग्राम बैढ़न व ग्राम बरका में खोले गये हैं। प्रदेश में अब 106 पोस्ट मेट्रिक छात्रावास संचालित हो रहे हैं। इन छात्रावासों में कक्षा 11वीं से स्नातकोत्तर अध्ययन करने वाले विद्यार्थियों को अध्ययन के लिये आवासीय सुविधा उपलब्ध कराई जा रही है। 
पोस्ट मेट्रिक छात्रावास में रह रहे विद्यार्थियों को नि:शुल्क रूप से कम्प्यूटर एवं अंग्रेजी के प्रशिक्षण की भी सुविधा उपलब्ध कराई जा रही है। 106 पोस्ट मेट्रिक छात्रावासों में 45 छात्रावास केवल आदिवासी बालिकाओं के लिये संचालित किये जा रहे हैं।

राज्य में वर्ष 2009-10 में आदिवासी बहुल क्षेत्रों में 50 नये हाई स्कूल प्रारंभ किये गये हैं। अब प्रदेश में 922 हाई स्कूल में लगभग दो लाख के करीब विद्यार्थी शिक्षा ग्रहण कर रहे हैं। इन स्कूलों में लगभग 75 हजार आदिवासी बालिकाएं अध्ययन प्राप्त कर रही हैं। इसी वर्ष प्रदेश में 20 नवीन हायर सेकेंडरी स्कूल प्रारंभ किये गये हैं। प्रदेश में अब 543 हायर सेकेंडरी स्कूलों में लगभग 80 हजार विद्यार्थियों को शैक्षणिक सुविधा का लाभ दिलाया जा रहा है।

0 comments:

Related Posts with Thumbnails
 
Blog template by mp-watch.blogspot.com : Header image by Admark Studio